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बसंत राय ने जनजाति कार्य विभाग सिवनी को बनाया आदिवासियों को लूटने का अड्डा

बसंत राय ने जनजाति कार्य विभाग सिवनी को बनाया आदिवासियों को लूटने का अड्डा 

अंशकालीन भर्ती के नाम पर लाखों रूपये लूटकर बसंत राय डाल रहा डाका 

विभागीय संरक्षण में नौकरी के नाम पर जनजाति कार्य विभाग सिवनी में लुट रहे आदिवासी युवा 


सिवनी। गोंडवाना समय। 

जनजाति कार्य विभाग सिवनी में लुटखसोट व डाका डालने का खेल खुलेआम चल रहा है। सबसे विशेष बात यह है कि जनजाति वर्ग के साथ सबसे ज्यादा लूटपाट की जा रही है। जनजाति कार्य विभाग सिवनी में पदस्थ कुछ कर्मचारियों ने तो इसे लुटपाट व डाका डालने का सुरक्षित अड्डा बनाकर रखा हुआ है।
             


जनजाति कार्य विभाग को कुछ कर्मचारी जो की वर्षों से नियम विरूद्ध पदस्थ रहकर दीमक की तरह खोखला करने में तुले हुये है। जनजाति कार्य विभाग कहने को तो जनजाति वर्ग के हित, विकास, कल्याण के लिये बना हुआ है लेकिन यहां पर पदस्थ अन्य वर्ग के कुछ कर्मचारियों के द्वारा मलाई खाने व कमाई का जरिया के साथ साथ लूटपाट करने का सुरक्षित अड्डा बना लिये है।
             

कुछ कर्मचारी राजनैतिक रसूख के चलते अपनी भ्रष्ट गतिविधियों को वर्षों से अंजाम देते चले आ रहे है। इसमें बसंत कुमार राय लिपिक का नाम भी शामिल है जो कि खुलेआम आदिवासी युवक को लूटकर उनका आर्थिक शोषण व धोखाधड़ी कर रहा है। 

आदिवासी युवक को नौकरी दिला पाये है और न ही 1 लाख 10 हजार रूपये वापस कर रहे 

जनजाति कार्य विभाग सिवनी में पदस्थ बसंत कुमार राय जो कि लिपिक के पद पर पदस्थ है जिनके द्वारा आदिवासी युवक को अंशकालीन भर्ती कराने के नाम पर 1 लाख 10 हजार रूपये ले लिया है। रिश्वत लेकर नौकरी दिलाने वाले बईमान कर्मचारी बसंत कुमार राय न तो आदिवासी युवक को नौकरी दिला पाये है और न ही 1 लाख 10 हजार रूपये वापस कर रहे है।
                आदिवासी युवक से अंशकालीन भृत्य के पद पर नौकरी दिलाने के नाम पर जनजाति कार्य विभाग का लिपिक बसंत कुमार राय ने बेखौफ होकर 1 लाख 10 हजार रूपये लेने के बाद अब न तो आदिवासी युवक का फोन उठा रहे है और न ही उससे संपर्क कर रहे है। हालांकि इस संबंध में जनजाति कार्य विभाग के सहायक आयुक्त डॉ अमर सिंह उईके को भी जानकारी है। 

छपारा जनपद अध्यक्ष ने भी भर्ती के नाम पर रूपये लेने की मांगी थी जानकारी 

जनजाति कार्य विभाग सिवनी में पदस्थ बसंत कुमार राय जैसे और भी कर्मचारी है जो कि जनजाति वर्ग के साथ लूटपाट व खुलेआम डाका डालने का कार्य कर रहे है। इनको संरक्षण विभाग के अधिकारियों व सिवनी जिले के कुछ राजनैतिक नेताओं का भी मिल रहा है इसलिये इनके हौंसले बुलंद है।
             जनजाति कार्य विभाग सिवनी में भर्ती के नाम पर रूपये लिये जाने के मामले में जनपद पंचायत छपारा के अध्यक्ष सदम सिंह बरकड़े ने भी सहायक आयुक्त सिवनी को पत्र लिखकर जानकारी भी लिया था। वहीं बसंत राय लिपिक द्वारा 1 लाख 10 हजार रूपये जिस आदिवासी युवक से लिया गया है वह छपारा ब्लॉक का ही रहने वाला है जिसने जनपद पंचायत अध्यक्ष छपारा को भी शिकायत किया है। 

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