बाहर से आने वाले चिकित्सकों की जानकारी देना अनिवार्य
बाहर से चिकित्सकों को बुलाकर मरीजों का उपचार कराना नियम विरूद्ध
पालन न करने पर का पंजीयन भी किया जा सकता है निरस्त
सिवनी। गोंडवाना समय।
जिला मुख्यालय में सिवनी जिले के बाहर से आने वाले डॉक्टरों की बिना सूचना दिये एवं बिना अनुमति के ही सिवनी जिले में आकर चिकित्सा व्यवसाय करने वाले डॉक्टरों पर अब स्वास्थ्य विभाग ने नकेल कसने का निर्देश जारी कर दिया है। हालांकि सिवनी जिला मुख्यालय में रविवार के दिन सबसे चिकित्सक बाहर से मरीजों का उपचार करने के लिये आते है। यह डॉक्टर मेडिकल स्टोर्स व कुछ निजी अस्पतालों में आते है। जहां पर महिने भर पहले से ही नंबर लगाये जाते है। इनकी क्या डिग्री है इन सब बातों को लेकर अब मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी ने नियमों का हवाला देकर कार्यवाही के निर्देश दिये है।
अनाधिकृत रूप चिकित्सा व्यवसाय कर मरीजों का कराया जा रहा इलाज
मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी जिला सिवनी द्वारा जिले में निजी चिकित्सा व्यवसाय करने के लिये समस्त विधा जैसे एमबीबीएस, बीडीएस, बीएएमएस, बीएचएमएस के बाहर से आने वाले निजी चिकित्सक को सूचित किया गया है कि आपके द्वारा जिस चिकित्सा विद्धा से शिक्षा प्राप्त की है और आपके द्वारा निजी चिकित्सा व्यवसाय सिवनी में आकर किया जा रहा है। जिसका म.प्र. उपचयार्गृह तथा रूजोपचार संबंधी स्थापनाएं रजिस्टीकरण तथा अनुज्ञापन नियम 1997 के तहत कार्यालय मुख्य चिकित्सा अधिकारी कार्यालय में पंजीयन अनिवार्य है। प्राय: देखा जा रहा है कि जिले में चिकित्सा व्यवसाय करने के लिये मेडिकल स्टोर एवं निजी चिकित्सालय एवं क्लीनिक संचालन करने वाले शासकीय चिकित्सक/अशासकीय चिकित्सक अपनी संस्था में बुलाकर अनाधिकृत रूप चिकित्सा व्यवसाय कर मरीजों का इलाज कराया जा रहा है जो कि नियम के विरूद्ध है एवं म.प्र. उपचयार्गृह तथा रूजोपचार संबंधी स्थापनायें रजिस्टीकरण तथा अनुज्ञापन नियम 1997 का उल्लंघन है।
कार्यवाही के लिये आप स्वयं जिम्मेदार होंगे
अत: समस्त शासकीय एवं अशासकीय चिकित्सक एवं मेडिकल स्टोर एवं निजी चिकित्सालय एवं क्लीनिक संचालक को निर्देशित किया जाता है कि बाहर से आने वाले चिकित्सकों का प्र. उपचयार्गृह तथा रूजोपचार संबंधी स्थापनायें रजिस्टीकरण तथा अनुज्ञापन नियम 1997 के तहत अपना पंजीयन अनिवार्य रूप से 15 दिवस के अंदर अवश्यक करायें अथवा यह प्रमाणित करें कि उनकी संस्था में नागपुर अथवा अन्य किसी राज्य के चिकित्सक आकर अपनी सेवायें नहीं दे रहे हैं। अन्यथा आप की संस्था के विरूद्ध होने वाली कार्यवाही के लिये आप स्वयं जिम्मेदार होंगे। पालन न करने पर का पंजीयन भी निरस्त किया जा सकता है।