धूमा थाना एससी के बाद एसटी के लिये बना प्रताड़ना का केंद्र
आदिवासी महिला के साथ मारपीट करने वाले पर धूमा थाना में दर्ज नहीं एफआईआर
चार दिन से भटक रही पीड़िता ने पुलिस अधीक्षक से की शिकायत
बीट प्रभारी जयराम ठाकुर समझौता के बना रहा दबाव
धूमा/लखनादौन। गोंडवाना समय।
आदिवासी विकासखंड लखनादौन के अंतर्गत धूमा पुलिस थाना अनुसूचित जाति वर्ग के बाद अनुसूचित जनजाति वर्ग के लिये प्रताड़ना का केंद्र बन गया है। जनजाति वर्ग की पीड़ित महिला अपने साथ हुई मारपीट के वीडियों साक्ष्य उपलब्ध कराने के बाद भी एफआईआर दर्ज कराने के लिये सिवनी मुख्यालय पहुंचकर पुलिस अधीक्षक से शिकायत करने के लिये मजबूर है। पीड़ित आदिवासी महिला जो कि ग्राम घोघरी थाना थाना धूमा, तहसील लखनादौन, जिला-सिवनी, की निवासी है।
21 अक्टूबर को किया था गाली गलौच कर किया मारपीट
मारपीट करने के साथ गाली गलौच करने वाला मनोज यादव जो कि ग्राम घोघरी थाना, धूमा, तहसील लखनादौन, जिला-सिवनी का निवासी है। मनोज यादव के द्वारा गोंड जनजाति वर्ग की महिला जातिगत रूप से अपमानित करते हुये गाली गलौच, मार पीट की जाकर परिवार सहित जान से मारने की धमकी दी गई है। पीड़ित आदिवासी महिला की शिकायत के अनुसार दिनांक 21 अक्टूबर 2025 को दोपहर के समय लगभग 1 बजे मनोज यादव पीड़िता के घर पहुंचा और गाली गलौच करते हुये जान से मारने की धमकी देने लगा।
वीडियों में मारपीट करते हुये दिखाई दे रहा है
मनोज यादव ने घर में बनी दीवार को गिरा दिया और घर पर तोड़ फोड़ करने लगा। पीड़ित आदिवासी महिला के साथ अभद्रता करते हुये जमीन पर नीचे गिरा दिया। जिसका वीडियों भी पीड़िता के पास मौजूद है जिसमें मनोज यादव महिला के साथ मारपीट करते हुये दिखाई दे रहा है।
वीट प्रभारी जयराम ठाकुर और के एल धुर्वे राजीनामा करने बना रहे दबाव
घटना के बाद 21 अक्टूबर 2025 को पुलिस थाना धूमा में शिकायत करने के लिये पीड़िता आदिवासी महिला अपने पुत्र के साथ धूमा थाना जा रही थी तो रास्ते में मनोज यादव अपनी मोटर सायकल से पीड़ित महिला व उसके पुत्र पर चढ़ाने लगा था और जान से मारने की कोशिश कर रहा था।
पीड़ित आदिवासी महिला का कहना है कि इस संबंध में दिनांक 21 अक्टूबर 2025 घटना दिनांक को ही धूमा पुलिस थाना में जाकर शिकायत दिया था लेकिन धूमा पुलिस थाना में पीड़ित जनजाति महिला की शिकायत पर कोई सुनवाई नहीं की गई। धूमा पुलिस थाना में बीट प्रभारी जयराम ठाकुर, के एल धुर्वे आपसी राजीनामा करने के लिये दबाव बना रहा है और थाना प्रभारी धूमा भी पीड़िता की शिकायत पर एफआईआर दर्ज नहीं कर रहे है।
