मुख्यमंत्री की संबंल, प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा राशि के लिए भटक रहे पीड़ित
सिवनी। गोंडवाना समय।
भाजपा सरकार के राज में शिवराज सरकार द्वारा मजदूरों के लिए शुरू की गई संबंल योजना और नरेन्द्र मोदी सरकार द्वारा शुरू की गई प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना की राशि के लिए हितग्राही दर-दर भटक रहे हैं। कांग्रेस सरकार की वजह से मजदूर की संबंल योजना खटाई में पड़ी हुई है। मृतक मजदूर के परिवार को सरकार की सहायता नहीं मिल रही है। वहीं इंश्यूरेंस कम्पनी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा शुरू की गई प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना को पलीता लगा रहे हैं। प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना का लाभ न मिलने का मामला छपारा में सामने आया है। वहीं मुख्यमंत्री संबंल योजना का लाभ न मिलने का मामला सिवनी शहर के नगरपालिका क्षेत्र अंतर्गत आदिवासी टोला में सामने आया है। दोनो ही मामले में पीड़ितों ने नगरपालिका एवं जनसुनवाई में शिकायत की है।
कैंसर से मर गई पत्नी मुख्यमंत्री की संबंल नहीं मिला लाभ
शहर के आदिवासी टोला निवासी संतोष कुर्वेती ने बताया कि उसकी पत्नी श्रीमति किसनिया कुर्वेती मजदूरी करके अपना जीवन-यापन करते थे। इसी बीच उसकी पत्नी को कैंसर की बीमारी हो गई। संतोष कर्वेती का कहना है कि उसने अपनी पत्नी का बहुत उपचार कराया। साहूकारों से भी कर्ज लेकर उपचार कराया लेकिन 30 जून 2018 को उसका निधन हो गया लेकिन शासन स्तर से जो मजदूर होने के कारण संबंल योजना का कार्ड बनाया गया था उसका लाभ नगरपालिका द्वारा नहीं दिया जा रहा है। आवेदन करने और बार-बार चक्कर काटने के बावजूद संबंल योजना का लाभ नहीं मिला है। पीड़ित संतोष का कहना है कि पेशे से वह हम्माल हैऔर उसके एक बेटा और बेटी है जो 17 एवं 14 वर्ष की उम्र के है। पत्नी की मृत्यु के बाद पैसे के अभाव में पढ़ाई छूट गई है और बेटा छोटे-मोटे काम करके बहन को पढ़ाता है। पीड़ित संतोष ने सरकार से संबंल योजना का लाभ दिए जाने की मांग की है।
पैसे जमा करने के बाद भी प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना का नहीं लाभ
मंगलवार को जनसुनवाई में शिकायत करते हुए बेबा संगीता अहिरवार निवासी हरिजन वार्ड छपारा ने बताया कि उसके पति स्व.सुभाष अहिरवार द्वारा प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना के तहत बीमा करवाया था और उसके पति के खाते से प्रति वर्ष 12 रुपए प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना के नाम से काटे जाते थे और उसके पति की बीमा पॉलिशी भी तैयार की गई थी लेकिन पति की मृत्यु हो जाने के बाद बीमा राशि दो लाख रुपए प्राप्त करने के लिए मृतक का बैंक खाता, बीमा पॉलिसी डिटेल,खाता का बैंक स्टेटमेंट,पति का मृत्य प्रमाण पत्र, पुलिस थाना की मर्ग रिपोर्ट,अस्पताल की डिस्चार्ज पर्ची,पोस्टमार्डम रिपोर्ट सहित सभी दस्तावेजों के साथ जब बैंक में आवेदन किया गया तो बैंक के प्रबंधक और बीमा कम्पनी पॉलिसी के पैसा देने की बजाय गुमराह कर परेशान किया जा रहा है। पीड़ित महिला अपने छोटे-छोटे बच्चों का लालन-पालन करने पैसे के लिए छह महीने से भटक रही है लेकिन उसकी कोई सुध नहीं ले रहे हैं।
सिर पर चोट लगने के कारण हो गई थी मौत
बेबा संगीता अहिरवार ने बताया कि उसके पति सुभाष पिता साहबलाल उम्र 40 की घर पर बल्ली से गिरने के कारण सिर पर गहरी चोट की वजह से नागपुर मेडिकल कॉलेज में 5 मई 2018 को मौत हो गई थी। मृतक मोची का काम कर अपने परिवार का लालन-पालन करता था लेकिन अब उसकी मौत के बाद पत्नी को बच्चों के लालन-पालन के लिए आर्थिक परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।