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जनजाति आयोग ने कुशीनगर, लक्षदीप,भुवनेश्वर में जनजातियों की समस्याओं को जाना

जनजाति आयोग ने कुशीनगर, लक्षदीप,भुवनेश्वर में जनजातियों की समस्याओं को जाना

नई दिल्ली। गोंडवाना समय। 
जनजाति आयोग के द्वारा क्षेत्रीय कार्यालय भुवनेश्वर में क्योंझर (ओडिशा) में निमार्णाधीन कानपुर सिंचाई परियोजना से प्रभावित अनुसूचित जनजाति वर्ग की तीन ग्राम पंचायतों के प्रतिनिधियों से भेंट की गई। उनके द्वारा उचित राहत और पुनर्वास की अपनी मांगें ज्ञापन के माध्यम से प्रस्तुत करते हुए व्यक्तिगत रूप से अवगत कराया कि परियोजना के अधिकारियों द्वारा पुलिस भेजकर उन्हें जबरन हटाया जा रहा है जबकि उनके पुनर्वास का कोई प्रबंध नहीं किया गया है। समस्या की गंभीरता को देखते हुए मेरे द्वारा तत्काल संबंधित मुख्य अभियंता और परियोजना निदेशक से दूरभाष पर चर्चा की गई और आवश्यक निर्देश दिये गये। उल्लेखित है कि इस शिकायत पर आयोग द्वारा कलेक्टर, क्योंझर से दिनॉंक 9 जनवरी 2019 को नोटिस जारी कर प्रतिवेदन मंगाया गया था।
इसके साथ ही आयोग के भुवनेश्वर क्षेत्रीय कार्यालय के कामकाज का भी निरीक्षण किया गया। इस प्रवास में आयोग के सहायक निदेशक श्री आर के दुबे भी उपस्थित थे। इसी तरह गणतंत्र दिवस के अवसर पर केंद्रीय मंत्री श्री जुएल उरांव जी जनजाति कार्य, भारत सरकार नई दिल्ली के आवास पर देश भर से आये जनजातीय कलाकारों ने गणतंत्र दिवस के सम्मान समारोह में भाग लिया । जिसमे केन्द्रीय मंत्री श्री सुदर्शन भगत जी, श्री जशवंत सुमन भाई भाभोर जी एवं जनजतीय कार्य मंत्रालय के वरिष्ठ पदाधिकारी गण, एवं जनजतीय समुदाय के लोगों ने भाग लिया ।
इसी तरह जनजाति आयोग के अध्यक्ष, सदस्य एवं अधिकारी लक्षदीप प्रवास पर रहे जहां उन्होंने इस प्रवास के दौरान लक्षदीप कवरत्ती में स्थानीय जनजाति प्रतिनिधियों से भेंट कर उनकी समस्याओं एवं सुझावों को सुना गया। पश्चात केन्द्र शासित प्रदेश के प्रशासनिक अधिकारियों के साथ जनजाति वर्ग के प्रतिनिधियों द्वारा दिये गये सुझावों एवं समस्याओं पर चर्चा की गई तथा जनजाति कल्याण सें संबंधित योजनाओं के क्रियान्वयन की प्रगति की समीक्षा भी की गई और आवश्यक निर्देश दिये गये।
बीते माह जनवरी में राष्ट्रीय अनुसूचित जनजाति आयोग की उपाध्यक्ष सुश्री अनुसुइया उइके ने उत्तर प्रदेश के कुशीनगर जिले के अधिकारियों की एक बैठक लेकरबैठक मे जिला प्रशासन द्वारा जाति प्रमाण पत्र नही बनाये जाने औरआवेदन निरस्त किये जाने के मामले मे दर्ज प्रकारण पर सुनवाई की गई। जांच और दस्तावेजों के परीक्षण ऊपरांत जनजाति आयोग की उपाध्यक्ष सुश्री अनुसुइया उईके ने सम्बंधित अधिकारियों को तत्संबंधी निर्देश दिए । 

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